कर्नाटक का नाटक कहता है- जैसी करनी, वैसी भरनी

मौजूदा संवैधानिक स्थिति (जितनी मेरी समझ है) और राजनीतिक शुचिता (यहां पर मेरा मतलब मूलतः हॉर्स ट्रेडिंग रोकने भर से

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